सिंचाई पानी की मांग को लेकर खाजूवाला में आंदोलन की सुगफुगाहट एक बार फिर शुरू


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किसान करेंगे 7 जनवरी को एसडीएम कार्यालय का होगा घेराव

खाजूवाला, इ.गा.न.प. के अंतिम छोर पर बसे खाजूवाला क्षेत्र में भी किसानों में सिंचाई पानी की मांग को लेकर एक बार फिर आंदोलन शुरू हो चुका है। किसान आगामी रबी फसल के पकाव के लिए 2 अतिरिक्त सिंचाई पानी की मांग कर रहे है। जिसको सोमवार को खाजूवाला की जाट धर्मशाला में किसानों की बैठक हुई। काफी संख्या में पहुंचे किसानों ने आगामी आंदोलन को लेकर रणनीति बनाई।

सैकड़ों की संख्या में पहुंचे किसानों ने पानी के लिए आगामी आंदोलन को लेकर किसान मजदूर व्यापारी संघर्ष समिति के नाम कमेटी बनाई जिसके नेतृत्व में 7 जनवरी को खाजूवाला के एसडीएम कार्यालय के बाहर प्रदर्शन कर धरना लगाया जाएगा। धरना स्थल पर ही 7 जनवरी को किसानों के द्वारा आंदोलन को तेज करने के लिए रणनीति बनाई जाएगी।

जाट धर्मशाला में सीसीबी चेयरमैन भागीरथ ज्याणी के नेतृत्व में हुई बैठक के दौरान 17 सदस्यों की किसान मजदूर व्यापारी संघर्ष समिति के नाम की कमेटी बनाई गई। किसानों ने पैदल मार्च करते हुए एसडीएम कार्यालय पहुंचे और पानी देने को लेकर नारेबाजी की। उपखंड अधिकारी को मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा गया। जिसमें कहा गया है कि किसानों के खेतों में खड़ी रबी की फसल दो पानी के अभाव में बर्बाद हो जाएगी। ऐसे में सरकार को तुरंत प्रभाव से किसान हित में 2 अतिरिक्त पानी दिलाकर किसानों के खेतों में खड़ी फसल को बचाया जाए।

किसान नेता जगदीश सियाग ने कहा कि अगर समय रहते सरकार ने किसानों की आवाज नहीं सुनी तो खाजूवाला में एक बार फिर 2004 जैसे हालात हो सकते हैं। किसान मोर्चा के जिला अध्यक्ष थानसिंह भाटी ने कहा कि डैम में 1340 फीट पानी होने के बावजूद भी सरकार किसानों की अग्नि परीक्षा ले रही है। उन्होंने कहा कि 13 जनवरी के बाद आगामी सिंचाई रेगुलेशन बनाकर पानी नहीं दिया गया तो इस आंदोलन को और अधिक तेज किया जाएगा।

इस मौके पर खाजूवाला प्रधान प्रतिनिधि धर्मपाल बिरड़ा, सीसीबी चेयरमैन भागीरथ ज्याणी, रामकुमार गोदारा, इकबाल सिंह, कमलेश सहारण, भूपराम भांभु, मदन लिंबा, साहबराम गोदारा, मनोहर लाल लेघा, सोहन खोखर, सुखदेव भुलर, राजाराम मेघवाल, रणवीर भांभु, मांगीलाल सरपंच, जियाराम पूनिया, अब्दुल बेरियावाली सरपंच चेतराम भांभु, मूलाराम कुकणा, लाजपत थोरी पूर्व प्रधान प्रतिनिधि, मनीराम गोदारा, रामप्रताप भादू, कृष्ण कासनिया, रामसिंह राजपुरोहित,शयोपत पूनिया, कृष्ण गिला, सहित बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे।